होशे 11:4
होशे 11:4 HINCLBSI
मैंने ही करुणा की डोरी से, प्रेम के बंधन से उसको अपने पास खींचा था। मैंने ही उसकी गरदन के जूए को हलका किया था, मैंने ही झुककर उसको खिलाया था।
मैंने ही करुणा की डोरी से, प्रेम के बंधन से उसको अपने पास खींचा था। मैंने ही उसकी गरदन के जूए को हलका किया था, मैंने ही झुककर उसको खिलाया था।