“ओही रथिया मेंह मिसर देस म ले होके निकलहूं अऊ मिसर देस के जम्मो पहिलांत ला मारहूं—चाहे ओह मनखे होवय या पसु, जम्मो पहिलांत ला मारहूं, अऊ मेंह मिसर के जम्मो देवतामन ला सजा दूहूं। मेंह यहोवा अंव। जऊन घरमन म तुमन रहत हव, ओमा ओ लहू ह एक चिनहां होही, अऊ जब मेंह ओ लहू ला देखहूं, त ओला नाहकके आघू बढ़ जाहूं। जब मेंह मिसरीमन ला मारहूं, त तुम्हर ऊपर कोनो नास करइया महामारी नइं आही।