योजना की जानकारी

चिंता पर विजयनमूना

चिंता पर विजय

दिन 2 का 5

अपने बोझ नीचे रख दें

गाँव की सड़क पर एक व्यक्ति अपनी छोटी ट्रक से जाते हुए एक महिला को बोझ उठाकर जाते देखकर, उसे अपने वाहन में बुलाया l महिला धन्यवाद देकर वाहन में सवार हो गई l

कुछ क्षण बाद, उस व्यक्ति ने उस महिला को उसके वाहन में बैठे हुए अभी भी बोझ उठाए हुए पाया! चकित होकर उसने कहा, “कृपया अपना बोझ नीचे रख कर आराम से बैठें l मेरा वाहन आपको और आपकी बोझ को उठाने में सक्षम है l”

हम जीवन के अनेक चुनौतियों के मध्य अक्सर भय, चिंता और घबराहट के बोझ के साथ क्या करते हैं? प्रभु में विश्राम करने की बजाए, मैं कभी-कभी उस महिला की तरह आचरण करता हूँ l यीशु ने कहा, “हे सब परिश्रम करनेवालों और बोझ से दबे हुए लोगों, मेरे पास आओ; मैं तुम्हें विश्राम दूंगा” (मत्ती 11:28), फिर भी जो बोझ यीशु को देना चाहिए, मैं उठाते देखा जाता हूँ l

हम प्रार्थना में अपने बोझ प्रभु के पास लाकर उतार देते हैं l प्रेरित पतरस कहते हैं, “अपनी सारी चिंता [यीशु] पर डाल दो, क्योंकि उसको तुम्हारा ध्यान है” (1 पतरस 5:7) l क्योंकि वह हमारी चिंता करता है, हम उसमें भरोसा करना सीखते हुए विश्राम करके आराम पाते हैं l हमें दबाने और श्रमित करने वाले को उठाने की जगह, हम उसे प्रभु को उठाने हेतु दें l

प्रार्थना वह स्थान है जहाँ हम कंधे बदलते हैं l

पवित्र शास्त्र

दिन 1दिन 3

इस योजना के बारें में

चिंता पर विजय

चिंता करने के लिए प्रवृत होते समय, हम उसे परमेश्वर को सौंप सकते हैं l वह हमारा ध्यान रखने में कभी नहीं थकता है l वह सबसे बुद्धिमान और सामर्थी है, और वह इन्हें हमारे लिए उपयोग करना चाहता है l तारों, नक्षत्रों को आज्ञा देन...

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हम इस योजना को प्रदान करने के लिए हमारी दैनिक रोटी - भारत का शुक्रिया अदा करना चाहते हैं। अधिक जानकारी के लिये कृपया यहां देखें: https://hindi-odb.org/subscription/india/

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