भजन संहिता 32:1-7

भजन संहिता 32:1-7 पवित्र बाइबल (HERV)

धन्य है वह जन जिसके पाप क्षमा हुए। धन्य है वह जन जिसके पाप धुल गए। धन्य है वह जन जिसे यहोवा दोषी न कहे, धन्य है वह जन जो अपने गुप्त पापों को छिपाने का जतन न करे। हे परमेश्वर, मैंने तुझसे बार बार विनती की, किन्तु अपने छिपे पाप तुझको नहीं बताए। जितनी बार मैंने तेरी विनती की, मैं तो और अधिक दुर्बल होता चला गया। हे परमेश्वर, तूने मेरा जीवन दिन रात कठिन से कठिनतर बना दिया। मैं उस धरती सा सूख गया हूँ जो ग्रीष्म ताप से सूख गई है। किन्तु फिर मैंने यहोवा के समक्ष अपने सभी पापों को मानने का निश्चय कर लिया है। हे यहोवा, मैंने तुझे अपने पाप बता दिये। मैंने अपना कोई अपराध तुझसे नहीं छुपाया। और तूने मुझे मेरे पापों के लिए क्षमा कर दिया! इसलिए, परमेश्वर, तेरे भक्तों को तेरी विनती करनी चाहिए। वहाँ तक कि जब विपत्ति जल प्रलय सी उमड़े तब भी तेरे भक्तों को तेरी विनती करनीचाहिए। हे परमेश्वर, तू मेरा रक्षास्थल है। तू मुझको मेरी विपत्तियों से उबारता है। तू मुझे अपनी ओट में लेकर विपत्तियों से बचाता है। सो इसलिए मैं, जैसे तूने रक्षा की है, उन्हीं बातों के गीत गाया करता हूँ।

भजन संहिता 32:1-7 पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) (HINCLBSI)

धन्‍य है वह मनुष्‍य, जिसका अपराध क्षमा किया गया, और जिसका पाप ढांपा गया। धन्‍य है वह मनुष्‍य जिसपर प्रभु अधर्म का अभियोग नहीं लगाता, और जिसके मन में कोई कपट नहीं है। जब तक मैंने अपना पाप प्रकट नहीं किया, मेरी देह दिन भर की कराह से कमजोर हो गई। तेरा हाथ दिन-रात मुझपर भारी था; मानो ग्रीष्‍म के ताप से मेरा जीवन-रस सूख गया। सेलाह मैंने तेरे सम्‍मुख अपना पाप स्‍वीकार किया, और अपने अधर्म को छिपाया नहीं; मैंने कहा, “मैं प्रभु के समक्ष अपने अपराध स्‍वीकार करूंगा।” और तूने मेरे पाप और अधर्म को क्षमाकर दिया। सेलाह जब तक तू मिल सकता है, सब भक्‍त तुझ से प्रार्थना करें; क्‍योंकि भयंकर जल-प्रवाह उन भक्‍तों तक नहीं पहुंच सकेगा। तू मेरा आश्रयस्‍थल है; तू संकट से मुझे सुरक्षित रखता है; तू मुक्‍ति के जयघोष से मुझे घेर लेगा। सेलाह

भजन संहिता 32:1-7 Hindi Holy Bible (HHBD)

क्या ही धन्य है वह जिसका अपराध क्षमा किया गया, और जिसका पाप ढ़ाँपा गया हो। क्या ही धन्य है वह मनुष्य जिसके अधर्म का यहोवा लेखा न ले, और जिसकी आत्मा में कपट न हो॥ जब मैं चुप रहा तब दिन भर कराहते कराहते मेरी हडि्डयां पिघल गई। क्योंकि रात दिन मैं तेरे हाथ के नीचे दबा रहा; और मेरी तरावट धूप काल की सी झुर्राहट बनती गई॥ जब मैं ने अपना पाप तुझ पर प्रगट किया और अपना अधर्म न छिपाया, और कहा, मैं यहोवा के साम्हने अपने अपराधों को मान लूंगा; तब तू ने मेरे अधर्म और पाप को क्षमा कर दिया॥ इस कारण हर एक भक्त तुझ से ऐसे समय में प्रार्थना करे जब कि तू मिल सकता है। निश्चय जब जल की बड़ी बाढ़ आए तौभी उस भक्त के पास न पहुंचेगी। तू मेरे छिपने का स्थान है; तू संकट से मेरी रक्षा करेगा; तू मुझे चारों ओर से छुटकारे के गीतों से घेर लेगा॥

भजन संहिता 32:1-7 पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) (HINOVBSI)

क्या ही धन्य है वह जिसका अपराध क्षमा किया गया, और जिसका पाप ढाँपा गया हो। क्या ही धन्य है वह मनुष्य जिसके अधर्म का यहोवा लेखा न ले, और जिसकी आत्मा में कपट न हो। जब मैं चुप रहा तब दिन भर कराहते कराहते मेरी हड्डियाँ पिघल गईं। क्योंकि रात दिन मैं तेरे हाथ के नीचे दबा रहा; और मेरी तरावट धूप काल की सी झुर्राहट बनती गई। (सेला) जब मैं ने अपना पाप तुझ पर प्रगट किया और अपना अधर्म न छिपाया, और कहा, “मैं यहोवा के सामने अपने अपराधों को मान लूँगा,” तब तू ने मेरे अधर्म और पाप को क्षमा कर दिया। (सेला) इस कारण हर एक भक्‍त तुझ से ऐसे समय में प्रार्थना करे जब कि तू मिल सकता है। निश्‍चय जब जल की बड़ी बाढ़ आए तौभी उस भक्‍त के पास न पहुँचेगी। तू मेरे छिपने का स्थान है; तू संकट से मेरी रक्षा करेगा; तू मुझे चारों ओर से छुटकारे के गीतों से घेर लेगा। (सेला)

भजन संहिता 32:1-7 इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 (IRVHIN)

क्या ही धन्य है वह जिसका अपराध क्षमा किया गया, और जिसका पाप ढाँपा गया हो। (रोम. 4:7) क्या ही धन्य है वह मनुष्य जिसके अधर्म का यहोवा लेखा न ले, और जिसकी आत्मा में कपट न हो। (रोम. 4:8) जब मैं चुप रहा तब दिन भर कराहते-कराहते मेरी हड्डियाँ पिघल गई। क्योंकि रात-दिन मैं तेरे हाथ के नीचे दबा रहा; और मेरी तरावट धूपकाल की सी झुर्राहट बनती गई। (सेला) जब मैंने अपना पाप तुझ पर प्रगट किया और अपना अधर्म न छिपाया, और कहा, “मैं यहोवा के सामने अपने अपराधों को मान लूँगा;” तब तूने मेरे अधर्म और पाप को क्षमा कर दिया। (सेला) (1 यूह. 1:9) इस कारण हर एक भक्त तुझ से ऐसे समय में प्रार्थना करे जबकि तू मिल सकता है। निश्चय जब जल की बड़ी बाढ़ आए तो भी उस भक्त के पास न पहुँचेगी। तू मेरे छिपने का स्थान है; तू संकट से मेरी रक्षा करेगा; तू मुझे चारों ओर से छुटकारे के गीतों से घेर लेगा। (सेला)

भजन संहिता 32:1-7 सरल हिन्दी बाइबल (HSS)

धन्य हैं वे, जिनके अपराध क्षमा कर दिए गए, जिनके पापों को ढांप दिया गया है. धन्य है वह व्यक्ति, जिसके पापों का हिसाब याहवेह कभी न लेंगे. तथा जिसके हृदय में कोई कपट नहीं है. जब तक मैंने अपना पाप छिपाए रखा, दिन भर कराहते रहने के कारण, मेरी हड्डियां क्षीण होती चली गईं, क्योंकि दिन-रात आपका हाथ मुझ पर भारी था; मेरा बल मानो ग्रीष्मकाल की ताप से सूख गया. तब मैंने अपना पाप अंगीकार किया, मैंने अपना अपराध नहीं छिपाया. मैंने निश्चय किया, “मैं याहवेह के सामने अपने अपराध स्वीकार करूंगा.” जब मैंने आपके सामने अपना पाप स्वीकार किया तब आपने मेरे अपराध का दोष क्षमा किया. इसलिये आपके सभी श्रद्धालु, जब तक संभव है आपसे प्रार्थना करते रहें. तब, जब संकट का प्रबल जल प्रवाह आएगा, वह उनको स्पर्श न कर सकेगा. आप मेरे आश्रय-स्थल हैं; आप ही मुझे संकट से बचाएंगे और मुझे उद्धार के विजय घोष से घेर लेंगे.

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