सभा-उपदेशक 3:1-14

सभा-उपदेशक 3:1-14 पवित्र बाइबल (HERV)

हर बात का एक उचित समय होता है। और इस धरती पर हर बात एक उचित समय पर ही घटित होगी। जन्म लेने का एक उचित समय निश्चित है, और मृत्यु का भी। एक समय होता है पेड़ों के रोपने का, और उनको उखाड़ने का। घात करने का होता है एक समय, और एक समय होता है उसके उपचार का। एक समय होता है जब ढहा दिया जाता, और एक समय होता है करने का निर्माण। एक समय होता है रोने—विलाप करने का, और एक समय होता है करने का अट्टाहस। एक समय होता है होने का दुःख मग्न, और एक समय होता है उल्लास भरे नाचका। एक समय होता है जब हटाए जाते हैं पत्थर, और एक समय होता है उनके एकत्र करने का। एक समय होता है बाध आलिंगन में किसी के स्वागत का, और एक समय होता है, जब स्वागत उन्हीं का किया नहीं जाता है। एक समय होता है जब होती है किसी की खोज, और आता है एक समय जब खोज रूक जाती है। एक समय होता है वस्तुओं के रखने का, और एक समय होता है दूर फेंकने का चीज़ों को। होता है एक समय वस्त्रों को फाड़ने का, फिर एक समय होता जब उन्हें सिया जाता है। एक समय होता है साधने का चुप्पी, और होता है एक समय फिर बोल उठने का। एक समय होता है प्यार को करने का, और एक समय होता जब घृणा करी जाती है। एक समय होता है करने का लड़ाई, और होता है एक समय मेल का मिलाप का। क्या किसी व्यक्ति को अपने कठिन परिश्रम से वास्तव में कुछ मिल पाता है? नहीं। क्योंकि जो होना है वह तो होगा ही। मैंने वह कठिन परिश्रम देखा है जिसे परमेश्वर ने हमें करने के लिये दिया है। अपने संसार के बारे में सोचने के लिये परमेश्वर ने हमें क्षमता प्रदान की है। परन्तु परमेश्वर जो करता है, उन बातों को पूरी तरह से हम कभी नहीं समझ सकते। फिर भी परमेश्वर हर बात, उचित और उपयुक्त समय पर करता है। मैंने देखा है कि लोगों के लिये सबसे उत्तम बात यह है कि वे प्रयत्न करते रहें और जब तक जीवित रहें आनन्द करते रहें। परमेश्वर चाहता है कि हर व्यक्ति खाये पीये और अपने कर्म का आनन्द लेता रहे। ये बातें परमेश्वर की ओर से प्राप्त उपहार हैं। मैं जानता हूँ कि परमेश्वर जो कुछ भी घटित करता है वह सदा घटेगा ही। लोग परमेश्वर के काम में से कुछ घटी भी वृद्धि नहीं कर सकते और इसी तरह लोग परमेस्शवर के काम में से कुछ घटी भी नहीं कर सकते हैं। परमेश्वर ने ऐसा इसलिए किया कि लोग उसका आदर करें।

सभा-उपदेशक 3:1-14 पवित्र बाइबिल CL Bible (BSI) (HINCLBSI)

हर एक बात का उपयुक्‍त अवसर, और आकाश के नीचे पृथ्‍वी पर किए जानेवाले काम का निर्धारित समय होता है: जन्‍म का समय; और मृत्‍यु का भी समय, पौधा लगाने का समय और लगाए गए पौधे को उखाड़ने का भी समय निश्‍चित है। हत्‍या का समय, और स्‍वस्‍थ करने का समय, ढाहने का समय और निर्माण का भी समय निर्धारित है। रोने का समय, और हंसने का समय, शोक मनाने का समय, और नाचने का भी समय नियत है। पत्‍थरों को बिखेरने का समय, और पत्‍थरों को बटोरने का समय, गले लगाने का समय और गले से दूर रहने का भी समय होता है। ढूंढ़ने का समय, और खोने का भी समय, रखने का समय, और फेंकने का भी समय निर्धारित है। फाड़ने का समय, और सीने का भी समय, चुप रहने का समय, और बोलने का भी समय निश्‍चित है। प्रेम करने का समय, और घृणा करने का भी समय, युद्ध करने का समय, और शान्‍ति बनाए रखने का भी समय नियत है। काम करने वाले को अपने परिश्रम से क्‍या लाभ होता है? मैंने उन कामों को देखा है जो परमेश्‍वर ने मनुष्‍यों को प्रदान किए हैं, ताकि वे उन में जीवन भर व्‍यस्‍त रहें। वस्‍तुत: परमेश्‍वर ने हर एक काम का समय निश्‍चित किया है, और प्रत्‍येक काम अथवा प्रत्‍येक वस्‍तु अपने नियत समय पर ही सुन्‍दर लगती है। उसने मनुष्‍य के हृदय में अनादि-अनन्‍त काल का ज्ञान भरा है, फिर भी मनुष्‍य यह भेद जान नहीं पाता है कि परमेश्‍वर ने आदि से अन्‍त तक क्‍या कार्य किया है। अत: मुझे यह अनुभव हुआ कि मनुष्‍य के लिए इससे अच्‍छी और कोई बात नहीं है कि वह जीवन-भर सुख से रहे और आनन्‍द मनाता रहे। वस्‍तुत: यह परमेश्‍वर का वरदान है कि प्रत्‍येक मनुष्‍य भरपेट खाए-पीए और आनन्‍दपूर्वक परिश्रम करे। मैं यह जानता हूं कि जो कुछ परमेश्‍वर करता है, वह सदा बना रहेगा; उसमें न कुछ जोड़ा जा सकता है, और न उससे कुछ घटाया जा सकता है। परमेश्‍वर ने यह इसलिए किया है ताकि मनुष्‍य उससे डरे।

सभा-उपदेशक 3:1-14 Hindi Holy Bible (HHBD)

हर एक बात का एक अवसर और प्रत्येक काम का, जो आकाश के नीचे होता है, एक समय है। जन्म का समय, और मरन का भी समय; बोने का समय; और बोए हुए को उखाड़ने का भी समय है; घात करने का समय, और चंगा करने का भी समय; ढा देने का समय, और बनाने का भी समय है; रोने का समय, और हंसने का भी समय; छाती पीटने का समय, और नाचने का भी समय है; पत्थर फेंकने का समय, और पत्थर बटोरने का भी समय; गल लगाने का समय, और गल लगाने से रूकने का भी समय है; ढूंढ़ने का समय, और खो देने का भी समय; बचा रखने का समय, और फेंक देने का भी समय है; फाड़ने का समय, और सीने का भी समय; चुप रहने का समय, और बोलने का भी समय है; प्रेम का समय, और बैर करने का भी समय; लड़ाई का समय, और मेल का भी समय है। काम करने वाले को अधिक परिश्रम से क्या लाभ होता है? मैं ने उस दु:खभरे काम को देखा है जो परमेश्वर ने मनुष्यों के लिये ठहराया है कि वे उस में लगे रहें। उसने सब कुछ ऐसा बनाया कि अपने अपने समय पर वे सुन्दर होते है; फिर उसने मनुष्यों के मन में अनादि-अनन्त काल का ज्ञान उत्पन्न किया है, तौभी काल का ज्ञान उत्पन्न किया है, वह आदि से अन्त तक मनुष्य बूझ नहीं सकता। मैं ने जान लिया है कि मनुष्यों के लिये आनन्द करने और जीवन भर भलाई करने के सिवाय, और कुछ भी अच्छा नहीं; और यह भी परमेश्वर का दान है कि मनुष्य खाए-पीए और अपने सब परिश्रम में सुखी रहे। मैं जानता हूं कि जो कुछ परमेश्वर करता है वह सदा स्थिर रहेगा; न तो उस में कुछ बढ़ाया जा सकता है और न कुछ घटाया जा सकता है; परमेश्वर ऐसा इसलिये करता है कि लोग उसका भय मानें।

सभा-उपदेशक 3:1-14 पवित्र बाइबिल OV (Re-edited) Bible (BSI) (HINOVBSI)

हर एक बात का एक अवसर और प्रत्येक काम का, जो आकाश के नीचे होता है, एक समय है। जन्म का समय, और मरन का भी समय; बोने का समय; और बोए हुए को उखाड़ने का भी समय है; घात करने का समय, और चंगा करने का भी समय; ढा देने का समय, और बनाने का भी समय है; रोने का समय, और हँसने का भी समय; छाती पीटने का समय, और नाचने का भी समय है; पत्थर फेंकने का समय, और पत्थर बटोरने का भी समय; गले लगाने का समय, और गले लगाने से रुकने का भी समय है; ढूँढ़ने का समय, और खो देने का भी समय; बचा रखने का समय, और फेंक देने का भी समय है; फाड़ने का समय, और सीने का भी समय; चुप रहने का समय, और बोलने का भी समय है; प्रेम करने का समय, और बैर करने का भी समय; लड़ाई का समय, और मेल का भी समय है। काम करनेवाले को अपने परिश्रम से क्या लाभ होता है? मैं ने उस दु:ख भरे काम को देखा है जो परमेश्‍वर ने मनुष्यों के लिये ठहराया है कि वे उस में लगे रहें। उसने सब कुछ ऐसा बनाया कि अपने अपने समय पर वे सुन्दर होते हैं; फिर उसने मनुष्यों के मन में अनादि–अनन्त काल का ज्ञान उत्पन्न किया है, तौभी जो काम परमेश्‍वर ने किया है, वह आदि से अन्त तक मनुष्य समझ नहीं सकता। मैं ने जान लिया है कि मनुष्यों के लिये आनन्द करने और जीवन भर भलाई करने के सिवाय, और कुछ भी अच्छा नहीं; और यह भी परमेश्‍वर का दान है कि मनुष्य खाए–पीए और अपने सब परिश्रम में सुखी रहे। मैं जानता हूँ कि जो कुछ परमेश्‍वर करता है वह सदा स्थिर रहेगा; न तो उसमें कुछ बढ़ाया जा सकता है और न कुछ घटाया जा सकता है; परमेश्‍वर ऐसा इसलिये करता है कि लोग उसका भय मानें।

सभा-उपदेशक 3:1-14 इंडियन रिवाइज्ड वर्जन (IRV) हिंदी - 2019 (IRVHIN)

हर एक बात का एक अवसर और प्रत्येक काम का, जो आकाश के नीचे होता है, एक समय है। जन्म का समय, और मरण का भी समय; बोने का समय; और बोए हुए को उखाड़ने का भी समय है; घात करने का समय, और चंगा करने का भी समय; ढा देने का समय, और बनाने का भी समय है; रोने का समय, और हँसने का भी समय; छाती पीटने का समय, और नाचने का भी समय है; पत्थर फेंकने का समय, और पत्थर बटोरने का भी समय; गले लगाने का समय, और गले लगाने से रुकने का भी समय है; ढूँढ़ने का समय, और खो देने का भी समय; बचा रखने का समय, और फेंक देने का भी समय है; फाड़ने का समय, और सीने का भी समय; चुप रहने का समय, और बोलने का भी समय है; प्रेम करने का समय, और बैर करने का भी समय; लड़ाई का समय, और मेल का भी समय है। काम करनेवाले को अपने परिश्रम से क्या लाभ होता है? मैंने उस दुःख भरे काम को देखा है जो परमेश्वर ने मनुष्यों के लिये ठहराया है कि वे उसमें लगे रहें। उसने सब कुछ ऐसा बनाया कि अपने-अपने समय पर वे सुन्दर होते हैं; फिर उसने मनुष्यों के मन में अनादि-अनन्तकाल का ज्ञान उत्पन्न किया है, तो भी जो काम परमेश्वर ने किया है, वह आदि से अन्त तक मनुष्य समझ नहीं सकता। मैंने जान लिया है कि मनुष्यों के लिये आनन्द करने और जीवन भर भलाई करने के सिवाय, और कुछ भी अच्छा नहीं; और यह भी परमेश्वर का दान है कि मनुष्य खाए-पीए और अपने सब परिश्रम में सुखी रहे। मैं जानता हूँ कि जो कुछ परमेश्वर करता है वह सदा स्थिर रहेगा; न तो उसमें कुछ बढ़ाया जा सकता है और न कुछ घटाया जा सकता है; परमेश्वर ऐसा इसलिए करता है कि लोग उसका भय मानें।

सभा-उपदेशक 3:1-14 सरल हिन्दी बाइबल (HSS)

हर एक काम के लिए एक तय समय है, और धरती पर हर एक काम करने का एक समय होता है: जन्म का समय और मृत्यु का समय; बोने का समय और बोए हुए को उखाड़ने का समय. मार डालने का समय और स्वस्थ करने का समय; गिराने का समय और बनाने का समय; रोने का समय और हंसने का समय; शोक करने का समय और नाचने का समय. पत्थर फेंकने का समय और पत्थर इकट्ठा करने का समय; गले लगाने का समय और गले न लगाने का समय. खोजने का समय और छोड़ देने का समय; बचाकर रखने का समय और फेंक देने का समय. फाड़ने का समय और सीने का समय; चुप रहने का समय और बोलने का समय. प्रेम का समय और नफरत का समय; युद्ध का समय और शांति का समय. मेहनत करनेवाले को उससे क्या लाभ जिसके लिए वह मेहनत करता है? मनुष्य को व्यस्त रखने के लिए परमेश्वर द्वारा ठहराए गए कामों का अनुभव मैंने किया है. उन्होंने हर एक वस्तु को उसके लिए सही समय में ही बनाया है. उन्होंने मनुष्य के हृदय में अनंत काल का अहसास जगाया, फिर भी मनुष्य नहीं समझ पाता कि परमेश्वर ने शुरू से अंत तक क्या किया है. मैं जानता हूं कि मनुष्य के लिए इससे सही और कुछ नहीं कि वह जीवन में खुश रहे तथा दूसरों के साथ भलाई करने में लगा रहे. हर एक व्यक्ति खाते-पीते अपनी मेहनत के कामों में संतुष्ट रहे—यह मनुष्य के लिए परमेश्वर द्वारा दिया गया वरदान है. मुझे मालूम है कि परमेश्वर द्वारा किया गया-हर-एक काम सदा बना रहेगा; ऐसा कुछ भी नहीं कि इसमें जोड़ा नहीं जा सकता या इससे अलग किया जा सके. परमेश्वर ने ऐसा इसलिये किया है कि लोग उनके सामने श्रद्धा और भय में रहें.

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