लूका 10:33-35
लूका 10:33-35 HINOVBSI
परन्तु एक सामरी यात्री वहाँ आ निकला, और उसे देखकर तरस खाया।* उसने उसके पास आकर उसके घावों पर तेल और दाखरस ढालकर पट्टियाँ बाँधीं, और अपनी सवारी पर चढ़ाकर सराय में ले गया, और उसकी सेवा टहल की। दूसरे दिन उसने दो दीनार निकालकर सराय के मालिक को दिए, और कहा, ‘इसकी सेवा टहल करना, और जो कुछ तेरा और लगेगा, वह मैं लौटने पर तुझे भर दूँगा।’





