जि जानकै कै व्यबस्था धरमी आदमी के काजै नांय पर बिन आदमिन के काजै है जो धरम कूं नांय मानें, कोई की बातन नें नांय मानें, परमेस्वर कूं नांय मानें, पाप करें, अपबित्र आदमी हैं, और मईया बापन कूं मारबे बारे हत्यारे हैं। और कुकर्मी हैं, आदमी-आदमी के संग सम्बन्ध बनाबे बारे हैं और बे आदमी बेचबे बारे, झूंठ बोलवे बारे, झूंठी सौगन्ध खायवे बारे और जाके अलाबा खरी सिछा के सब बिरोधिन कूं ठहराई गई है।